नौकरी के लिए अच्छा रिज्यूम तैयार करने का तरीका

               नौकरी के लिए अच्छा रिज्यूम तैयार करने का तरीका

                                                                                                                                                                                      डॉ0 आर. एस. सेंगर

अपने रिज्यूमे को आकर्षक एवं इम्प्रेसिव बनाने के लिए अपने ऐसे कौशलों को हाईलाइट करें, जो कि आपको नौकरी पाने में सहायता कर सकते हैं।

यदि आप किसी भी कंपनी में नौकरी के लिए आवेदन करना चाहते हैं और वहां पर जॉब करना आपका वर्षों से सपना रहा है। आप इस कंपनी में जॉब प्राप्त करने के लिए आवेदन करते हैं तो इसके लिए सबसे पहले आपको उस कंपनी में नौकरी करने के लिए अपना रिज्यूमे कंपनी के प्रबंधन या फिर उसकी एचआर टीम को देना होता है। लेकिन इंटरव्यू के लिए आपका रिज्यूम शॉर्टलिस्टेड हो जाए इसके लिए आपका रिज्यूम बाकी उम्मीदवारों की तुलना में कंपनी की एचआर टीम व प्रबंधन को आकर्षक एवं इम्प्रेसिव लगना चाहिए।

                                                                

दरअसल किसी भी नौकरी के लिए आवेदन करने से पहले आपको अपने रिज्यूम पर काम करना चाहिए। एक अच्छा रिज्यूम बनाने के लिए उसमें उम्मीदवारी और सफलताओं की लंबी सूची को शामिल न करें, बल्कि एक ऐसा रिज्यूम बनाए जो आपके काम की गुणवत्ता को उचित तरीके से सादगी के साथ दर्शाता हो और इसके साथ ही वह आपके काम की गुणवत्ता को भी प्रदर्शित करता हो।

अपनी सफलताओं की सूची तैयार करें

एक आकर्षक रिज्यूम बनाने के लिए आपको अपने द्वारा किए गए सभी कार्यों की सबसे पहले एक सूची बनानी चाहिए। इस दौरान यदि आपने अपने कॉलेज के दौरान कोई इंटर्नशिप या कोई अन्य कार्य किया है तो उसे भी सूची में अवश्य शामिल करें। दरअसल कार्य अनुभव की सभी जानकारी को लिखने से आपको अपने कौशल ज्ञान, उपलब्धियां और रुचियां आदि को पहचानने में फिर से मदद मिल सकती है। इसके बाद बनाई गई सूची का मूल्यांकन करें और अपनी व्यवसायिक प्रतिभा पर विचार करते हुए उन खूबियों को भी शामिल करें, जिनसे आप अच्छी तरह से वाकिफ है।

कैसे बनाएं एक अच्छा रिज्यूम

रिज्यूम के शुरुआत में ही आपको कम शब्दों में एक सारांश लिखना चाहिए। यह सारांश ही आमतौर पर पहली चीज होती है, जिसे कोई भी प्रबंधन या एचआर टीम देखती है। जैसे कि आप सारांश में लिख सकते हैं कि इस नौकरी के लिए आपको क्या चीज प्रेरित करती है। आप सारांश में अपनी कौशल को भी जोड़ सकते हैं और इन कौशलों से मिलने वाली सफलताओं के बारे में भी जिक्र कर सकते हैं, ताकि कंपनी को आपके काम के बारे में जानकारी मिल सके। यदि आपने स्वयंसेवी के रूप में किसी संस्था में कार्य किया है तो उसको भी पेशेवर अनुभव के रूप में आप अपने रिज्यूम में पेश कर सकते हैं।

रिज्यूम बनाने का तरीके को भी बदले

अपने रिज्यूम में अधिकतर लोग कॉलेज और कॉलेज से प्राप्त पत्रताओं के बारे में जिक्र करते हैं, लेकिन यह रिज्यूम बनाने का एक पारंपरिक तरीका है। अपनी पात्रताओं को आकर्षक रूप से प्रदर्शित करने के लिए आपको यह विचार करना होगा कि आपके लिए क्या अधिक महत्वपूर्ण है और कौन सी डिग्री, डिप्लोमा व सर्टिफिकेट आदि ने आपके करियर को आकार प्रदान किया है। आप अपनी ऐसी अन्य पात्रताओं के बारे में भी लिख सकते हैं, जो प्रबंधन के सामने आपके मूल्य को दर्शाती हों।

अपने रिज्यूम में जोड़ें कुछ नया

                                                   

रिज्यूम को आकर्षक बनाने के लिए आप अपने उन विशेष कौशलों के बारे में विशेष रूप से सोचें जिनके माध्यम से आपको एक अच्छी नौकरी पाने में मदद मिल सकती है। अब यह विचार करें कि क्या यह कौशल इस नौकरी के लिए प्रासंगिक है और यदि ऐसा है तो उन खूबियों को रिज्यूम में जरूर शामिल करें। यदि आपने अपने व्यावसायिक कारणों से किसी अन्य देश में भी कोई कार्य किया है, तो वहां सीखी गई भाषा के साथ ही अन्य कौशलों के बारे में भी अवश्य ही लिखें और यदि आप संगीत, विजुअल आर्ट, एनीमेशन या अपने किसी पसंदीदा कौशल को निखारने के लिए कोई कोर्स आदि भी कर रहे हैं तो उसे भी रिज्यूम में जरूर शामिल कर सकते हैं।

लेकिन यहाँ इस बात का ध्यान रखना भी जरूरी है कि आप किस जगह और किस कंपनी को अपना रिज्यूम पेश करना चाहते हैं। अतः जहां पर भी आप अपने रिज्यूम को देना चाहते हैं उसे कंपनी तथा संस्थान के बारे में पूर्ण जानकार प्राप्त कर ले और उसकी जरूरतों के अनुसार ही अपने रिज्यूम को बनाएं।

जब आप अपना रिज्यूम तैयार कर रहे हैं तो उसे अधिक आकर्षक बनाने के लिए अपने उन विशेष कौशलों को रेखांकित करें या उनको बोल्ड कर दें, जो आपको यह नौकरी पाने में मददगार सिद्व हो सकते हैं और जिसे पढ़ने में आसानी हो और पढ़ने वालों की निगाह सबसे पहले उन शब्दों पर ही पड़े जिन्हें आपने रेखांकित या बोल्ड किया हुआ है।

लेखकः प्रोफेसर आर. एस. सेंगर, निदेशक प्रशिक्षण, सेवायोजन एवं विभागाध्यक्ष प्लांट बायोटेक्नोलॉजी संभाग, सरदार वल्लभभाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय मेरठ।