शराब छुड़ाने की होम्योपैथिक दवा

                                                                       शराब छुड़ाने की होम्योपैथिक दवा

                                                                                                                                                                             डॉ0 आर. एस. सेंगर एवं मुकेश शर्मा

होम्योपैथी की सहायता से आप किसी भी प्रकार के नशे की लत से आसानी के साथ छुटकारा पा सकते हैं। इसके साथ ही की दवाईयों के किसी भी प्रकार के दुष्प्रभाव नही होते हैं, जैसे कि अन्य नशें को छुड़ाने वाली दवाईयों के होते हैं और इन दवाईयों से नशे की लत बड़ी आसानी के साथ छूट जाती है। दोस्तों आज के इस लेख में शराब की लत के बारे में बात करेंगे और इसके साथ ही कुछ दवाईयों के बारे में बतायेंगे जो इस मामले में आपकी मदद कर सकती हैं-

                                                           

शराब पीने की लत ऐसी लत है जिससे छुटकारा पाना बहुत कठिन होता है क्योंकि इस बीमारी से ग्रस्त ज्यादातर लोग स्वयं ही इस लत को छोड़ना नहीं चाहते है और शराब छुड़ाने के लिए उस व्यक्ति के परिवार वाले ही कोशिश करते रहते है। यह एक ऐसा नशा है जिसमें मनुष्य शराब पीना और पीते जाने की अपनी इच्छा को दबा नहीं पाता है। ‘विश्व स्वास्थ्य संगठन’ ने शराब की लत को बीसवीं सदी के तीन सबसे अधिक जानलेवा रोगों में से एक माना है।

शराब का सेवन करने वाले व्यक्ति का पारिवारिक, सामाजिक, आर्थिक एवं स्वास्थ्य सहित सभी पक्ष कुप्रभावित होते हैं। फलतः वह आत्मग्लानी और कम आत्मविश्वास का शिकार हो जाता है। सम्बन्धित व्यक्ति के घर-परिवार आदि प्रभावित होकर वह रोगग्रस्त, तनावग्रस्त एवं कर्जदार हो जाता है जिससे उसका परिवार बर्बाद हो जाता है।

यह गरीबी का कारण तो बनती ही है, इससे पारिवारिक अशांति भी बढ़ती है और साथ ही इससे अपराध भी बढ़ता है, क्योंकि इसे सब अपराधों की जननी कहा जाता है। इसके अलावा सड़क दुर्घटनाओं का भी यह एक प्रमुख कारण है।

हम शराब को भोजन या भोजन का हिस्सा बिलकुल नहीं कह सकते, क्योंकि यह किसी भी हालत में पचती नहीं। रक्त में यह तुरंत घुलकर पूरे शरीर में पहुँच जाती है तथा मस्तिष्क व लीवर पर अपना बुरा प्रभाव डालती है। करीब 90 प्रतिशत शराब लीवर में और 10 प्रतिशत साँस के साथ अथवा पेशाब के रास्ते बाहर निकल आती है। औसतन ह्विस्की के एक पेग या 12 औंस बीयर या 5 औंस शराब यकृत में करीब एक घंटे में ऑक्सीकृत होती है।

शराब की लत के लक्षण

                        

यह जरुरी नहीं है की शराब पीने वाले सभी लोग शराब के लती हो या शराबी हो। बहुत बड़ी संख्या में लोग शराब तो पीते है लेकिन इसकी लत के शिकार नहीं होते है, ज्यादा शराब पीने वालो के लक्षण निम्नलिखित होते है-

विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, ‘शराबी’ उनको कह सकते हैं, जो पूरी तरह इसी पर निर्भर हो चुके हैं और बिना शराब के उनके अंदर तड़प-सी पैदा होने लगती है, साथ ही जिनके सामाजिक संबंध तथा आर्थिक स्थिति भी इससे प्रभावित होने लगती है।

                                        

शराब के आदी लोगों के चेहरे पर धुआँ-सा और आँखों में लाल निशान, आवाज में रूखापन और नाड़ी की गति में तेजी नजर आती है। शराब की लत वाले लोग चिड़चिड़े और अति भावुक हो जाते हैं। उलटी, चक्कर, निर्णय लेने में अक्षमता और इनकी नींद भी पूरी नहीं होती है ।

एक शराबी भोजन की अपेक्षा शराब पीना अधिक पसंद करता है और इस तरह उसके शरीर में विटामिनों की कमी के कारण बेचौनी, शरीर में कंपन, मांसपेशियों में ऐंठन, आँखों में खराबी और याददाश्त कमजोर होने लगती है।

अधिक शराब पीने वालों के बालों में असमय ही सफेदी आने लगती है। शराब के कारण शरीर में खनिजों की कमी होने लगती है, विशेष रूप से मैग्नीशियम की। शराब जितनी पी जाए उतनी ही पीने की इच्छा बढ़ती जाती है और जो इसे जितना ही कोई पीता है उतनी ही खाने की इच्छा कम होती जाती है। धीरे-धीरे असंतुलित भोजन के कारण शरीर अनेक रोगों का शिकार हो जाता है।

अधिक शराब का सेवन करने से लीवर पर दबाव बढ़ता है। धीरे-धीरे लीवर की कार्यक्षमता कम होने लगती है। इसका पेट और अंतड़ियों पर भी गहरा असर पड़ता है। इससे दिमाग को भी क्षति पहुँचती है, क्योंकि उसकी कोशिकाएँ शराब से प्रभावित होती हैं। इतना ही नहीं, शराब दिल को भी कमजोर बना देता है।

लोगो को लगता है की शराब का असर सिर्फ शरीर पर ही होता है लेकिन, दरअसल शराब का असर शरीर से ज्यादा दिमाग पर अधिक प्रभाव होता है और शराब से जुडी ज्यादातर समस्याओ में खराब मानसिक दशा अधिक जिम्मेदार होती है, इसलिए अधिक शराब पीने वालो की शराब छुड़ाने के प्रयास जल्द से जल्द आरम्भ कर देने चाहिए।

कारण

शराबी, शराब पीने की लिमिट को बहुत जल्दी लाँघ जाता है और कई बार यह स्थिति धीरे-धीरे आती है। कमजोर दिमाग (अधिक भावुक या कम आत्मविश्वास) का व्यक्ति शराब या अन्य नशे के माध्यम से अपने आपको सांत्वना देता है। यही कारण है कि वह समस्या का सामना करने के बजाय उससे भागना चाहता है।

शराब पीने का मुख्य कारण होता है चिंताओं से मुक्ति पाने की चाह या नींद की इच्छा। बस, धीरे-धीरे वह नशे का आदी होकर अपनी सारी समस्याओं का समाधान शराब में ही ढूँढ़ने लगता है और अंत में शराब के दलदल में पूरी तरह धंस जाता है जहाँ से उसे निकालने के लिए डॉक्टर और दवाइयों का सहारा लेना पड़ता है।

                                                                            शराब छुड़ाने की होम्योपैथिक दवा

                                                

न्चे दी गई होम्योपैथी की कोई भी एक दवा भी जो आपके आसपास उपलब्ध हो और शराब के मरीज के लक्षण भी मिलते हो, उसी होम्योपैथिक दवा का उपयोग करें-

  • शराब छुड़ाने के लिए एसिड सल्फ.- इस होम्योपैथिक की दवा को तीन भाग पानी, एक भाग अल्कोहल में मिलाकर रोजाना तीन बार दस-पंद्रह बूँदें मरीज को दें या एक ड्राम (औंस का सोलहवाँ भाग) अल्कोहल में स्टेरक्यूलिया- की तीन-पाँच बूँदें मिलाकर दिन में तीन बार दें।
  • शराब की लत से मुक्ति के लिए एक भाग सल्फ्यूरिक एसिड- और तीन भाग अल्कोहल मिलाकर 3-4 सप्ताह तक दिन में तीन बार दें।
  • यदि शराब का मरीज गुस्से में रहता हो, शराब के सेवन तथा भय से होने वाली परेशानी भी हो तो ओपियम-30, दिन में तीन बार दे ।
  • ब्रांडी पीने से उत्पन्न विकार सल्फ्यूरिक एसिड-200 की सप्ताह में एक खुराक।
  • शराब की लत के कारण शरीर में कंपन, कमजोरी तथा थकान सल्फ्यूरिक एसिड-30 दिन में तीन बार।
  • शराब से पैदा होने वाले साइड इफ़ेक्ट में कोकुलस इंडिकस-30 दिन में तीन बार।
  • शराब पीने की तेज इच्छा होने पर असारम यूरोपियम-30 दिन में तीन बार।
  • शराब पीने से स्वास्थ्य खराब होना, कमजोरी यूपेटोरियम पर्फ-30 दिन में तीन बार।
  • शराब के दुष्प्रभाव, जैसे- सिरदर्द, अनियमित हिचकी, उदासी, याददाश्त कमजोर होना और उन्माद या चित्त-भ्रांति-रेनाक्यूलस बी.-क्यू दिन में तीन बार, हर बार दस से तीस बूँदें।
  • शराबी यदि इतनी शराब पी ले की वह चल भी ना पाए तो ऐसे में नशा फौरन कम करने के लिए के लिए-कैप्सिकम-क्यू या 3 एक्स, पानी में मिलाकर जल्दी-जल्दी दें।
  • शराब का दुष्प्रभाव, मिचली तथा उलटी-काली बाइक्रोमियम-30, दिन में तीन बार।
  • शराब पीने की तलब को दबाने के लिए-सल्फ्यूरिक एसिड के एक भाग को तीन भाग अल्कोहल में मिलाकर तीन-चार सप्ताह तक दिन में तीन बार दस-पंद्रह बूँदें दें या सल्फ्यूरिक एसिड-200 की सप्ताह में एक खुराक।
  • शराब की लत छुड़ाने के लिए-सल्फ्यूरिक एसिड-30 दिन में दो बार, दो सप्ताह तक। इसके विफल रहने पर सेलेनियम-30 की दो खुराक यानी सुबह-शाम दें ।

शराब छुड़ाने के लिए इन उपायों को भी आजमायें

इसके लिए सबसे पहले शराब न पीने का संकल्प जरूरी है; क्योंकि शराब की आदत धीरे-धीरे नहीं खत्म हो सकती। शरीर से पोषक तत्त्वों की कमी को दूर करना इसकी महत्त्वपूर्ण ओषधि है, जिससे शराब की इच्छा शरीर को उत्तेजना देने के लिए जरूरी न लगे।

  • मरीज को कम-से-कम दस दिनों तक सिर्फ फलों का रस पीना चाहिए। इन दस दिनों में रोगी को सवेरे आठ बजे से रात आठ बजे तक हर दो घंटे बाद मौसंबी का रस पीना चाहिए। रस में पानी डालकर पतला भी किया जा सकता है। अगर यह ठीक न लगे तो अन्य फल या तरकारियों का भी रस लिया जा सकता है।
  • गरम पानी पीकर शरीर के भीतर के जहरीले तत्त्वों को निकाला जा सकता है। फलों के रस पीने के दौरान शराब की जरूरत नहीं महसूस होगी।
  • दस दिनों के बाद आवश्यक पोषक तत्त्वों को लेना शुरू कर देना चाहिए. जैसे-अनाज, अंकुरित बीज, ताजे फल और हरी सब्जियाँ; लेकिन हाँ, भूसी या छिलके न निकालें तो बेहतर होगा। नाश्ते में फल और दूध लें। भोजन में उबाली हुई सब्जियाँ, गेहूँ के भूसीदार आटे की रोटियाँ और सलाद लेना अच्छा रहता है।
  • शराब की इच्छा को दबाने के लिए शुरू में फलों का रस अच्छा विकल्प साबित हो सकता है। उसमें शहद मिला लिया जाए तो और भी अच्छा रहेगा। इसके अलावा मिस्री वगैरह भी अच्छी लगेगी। सभी रिफ़ाइंड किए गए भोजन, जैसे-शक्कर, चावल, मांस वगैरह से बचना चाहिए। पोषक तत्त्वों के मिलने से शराब की इच्छा शरीर में से खत्म होगी और मरीज की शराब छुड़ाने में आसानी होगी।
  • पोषक तत्त्वों के साथ ही पूर्ण विश्राम और व्यायाम आवश्यक है। व्यायाम से पाचन-शक्ति बढ़ती है और शराब की इच्छा खत्म होती है।

शराब छुड़ाने में मददगार योगासन

  • शराब छुड़ाने में योगासान भी बहुत महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा कर सकते है जैसे- पद्मासन, वज्रासन, वक्रासन, योगमुद्रा, भुजंगासन, हलासन व शलभासन तथा यौगिक क्रियाएँ-जलनेति, कुंजल और सरल प्राणायाम, जैसे-कपालभाती, विलोमा, सितकरी भी लाभदायक सिद्ध होती हैं।

और अंत में शराब छुड़ाने के लिए इन बातों को भी ध्यान में रखिए-

  • अगर ज्यादा जरूरत महसूस हो तब शराब एक साथ मत पीजिए, बल्कि चाय की तरह चुस्कियाँ लीजिए।
  • पहले पैग को पीने के बाद दोबारा लेने में कम-से-कम तीस मिनट का अंतर रखिए या एक घंटे का अंतर होगा तो और भी अच्छा रहेगा।
  • शराब में पानी जरूर मिलाइए। आपने कितनी शराब पी, इसका सही रिकॉर्ड रखिए और कम-से-कम अपने आपसे तो मत छुपाइए।
  • खाली पेट शराब मत लीजिए। थकान या बोरियत महसूस हो तब और तनाव के क्षणों के समय शराब को हाथ मत लगाइए। एक नियम बना लीजिए, बेचौनी से बचने के लिए आप नहीं पीएँगे । ऊपर शराब छुड़ाने के लिए बताई गई होम्योपैथिक दवाओ के साथ बैचनी कम करने की दवा भी बताई गयी है उसका सेवन कीजिये।

शराब का नशा अन्य मादक पदार्था जैसे अफीम, ड्रग्स आदि की तरह छोड़ना इतना मुश्किल नहीं होता की आप उसे छोड़ ना सके, लाखो लोगो ने इस लत से छुटकारा पाया है जिसमे सबसे बड़ा योगदान शराब छोड़ने की तेज इच्छा शक्ति और मजबूत दृढ़ संकल्प का होता है।

होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की दवाः शराब पीना कैसे छोड़े-

शराब की लत को छुड़ाने वाली होम्योपैथिकी की दवाएं कौन-कौन सी हैं-

दोस्तों आज के दौर में शराबी कैसा फैशन बन गया है जिसकी वजह से लगभग हर दूसरा व्यक्ति शराब के नशे में लिख रहने लगा है । बहुत से लोग शराब को फैशन Wine Fashion के रूप में लेते हैं।

परंतु बहुत से लोग शराब को आदत बना लेते हैं जो लोग शराब को अपनी आदत बना लेते हैं वह लोग शराबी बन जाते हैं और कई प्रकार की परेशानियों में घिर जाते हैं।

आप शराब के विषय में अधिक से अधिक जानते भी हैं और यह भी देखा होगा कि बहुत सारे लोग दिनभर शराब की लत से परेशान रहते हैं वह दिन भर शराब पीते रहते हैं जिसकी वजह से शारीरिक और मानसिक विकृति उत्पन्न हो जाती है ऐसे में व्यक्ति के परिवार थ्ंउपसल के लोग परेशान होने लगते हैं ।

शराब का नशा एक ऐसा नशा है जिसे पीने के बाद व्यक्ति बहक जाता है वह उल्टा सीधा बकबक Chatter करता रहता है एक समय ऐसा आता है कि व्यक्ति शराब के कारण बीमार हो जाता है और मौत का कारण बन जाता है। इस लिए इस लेख को अंत तक पढ़े हमने इस लेख में होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की दवा के बारे में बताया है साथ में शराब छोड़ने की हर जानकारी को विस्तार से बताया है।

शराब पीने वाले व्यक्ति के परिवार की आर्थिक स्थिति बिगड़ जाती है और पारिवारिक शांति नष्ट हो जाती है दिन पर दिन कला बना रहता है इसके अलावा शराब पीकर यदि कोई व्यक्ति गाड़ी चलाता है तो दुर्घटनाओं Accidents का शिकार हो जाता है।

शराब एक ऐसा नशा है जो भी के जीवन को पूरी तरह से नष्ट कर देता है उससे संपूर्ण समाज अलग होने लगता है धीरे-धीरे व्यक्ति समाज Society से पूरी तरह अलग हो जाता है लोग उसे पसंद भी नहीं करते हो साथ ही भला बुरा भी कह दे सकते हैं ।

     जब व्यक्ति अधिक से अधिक दिन भर शराब के नशे में लिप्त रहने लगता है तब व्यक्ति की आर्थिक स्थिति या और शारीरिक व मानसिक स्थितियां विपरीत हो जाती है घर के बाल बच्चे पत्नी माता पिता सभी लोग परेशान हो जाते हैं ऐसी स्थिति में घर परिवार के लोग उससे दूर रहने लगते हैं।

जब कोई व्यक्ति अधिक शराब पीने लगता है तो शराब एक ऐसा नशा है जिस की आदत पड़ जाने के बाद छूटना असंभव हो जाता है कुछ लोग कम शराब पीते हैं तो कुछ लोग दिन भर शराब पीते रहते हैं ।

हालांकि जो लोग कम शराब पीते हैं वह लोग शराब पीने के बाद बहकते नहीं है बल्कि वह शराब पीने के बाद आराम से सो जाते हैं ।परंतु जो लोग बहुत ही अधिक शराब पीते हैं अर्थात दिनभर शराब के नशे में लिप्त रहते हैं द्य वह लोग खानपान की ओर ध्यान नहीं देते हैं जिससे उनका शारीरिक ह्रास होने लगता है ।

 शराबी कौन है? शराबी किसे कहते है? Who is Drunker?

शराब एक ऐसा नशा है जिसे कुछ लोग भोजन के साथ करते हैं परंतु यह ध्यान देने की बात है कि शराब एक पूर्ण भोजन नहीं है क्योंकि यह शरीर में जाने के बाद पछता नहीं है बल्कि संपूर्ण शरीर के रक्त में पहुंचकर मस्तिष्क और लीवर पर बुरा प्रभाव डालता है।

जो व्यक्ति दिन में एक या दो बार शराब पीते हैं उन्हें शराबी नहीं कहा जा सकता परंतु जो लोग दिन भर शराब की लत में लिप्त रहते हैं उन्हें शराबी कहा जा सकते हैं शराबी की यही पहचान होती है कि वह दिन भर शराब के अलावा और किसी चीज़ से मतलब नहीं रखता है।

शराबी को यह बिल्कुल नहीं पता होता है कि शराब हमारे लिए कितना नुकसान दायक है यदि पता भी होता है तो भी वह दिन भर शराब पीता रहता है ऐसे में शराब शरीर के अंदर पहुंचने के बाद मस्तिष्क और जीवन को प्रभावित कर देता है शराब की वजह से लीवर और किडनी जैसे संवेदनशील अंग खराब हो जाते हैं हर व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है।

शराब शरीर के अंदर पच नहीं पाती है बल्कि बल्कि ऑक्सीकृत होती है। शरीर के अंदर शराब को आक्सीकृत होने में लगभग एक घंटा का समय लगता है जिसकी वजह से अधिक प्रभाव पड़ता है और किडनी पर भी बुरा प्रभाव पड़ता है।

शराब की लत के लक्षण क्या है? Symptoms of alcohol addiction?

शराब एक ऐसी लत है जिसकी वजह से घर परिवार सामाजिक संबंध आदि सभी प्रभावित हो जाते हैं एक शराबी की हालत कुछ इस तरह से हो जाती है कि वह बहकी बहकी बातें करने लगता है तथा चेहरे पर धुआं सा और आंखों में लालिमा छा जाती है ।

शराब शारीर को कैसे बीमार करती है? Physical problems more common

शराबी व्यक्ति की आवाज में रूखापन गति में तेजी नजर आने लगती है व्यक्ति स्वभाव में चिड़चिड़ापन भावुक हो जाता है शराब के नशे में व्यक्ति बहुत जल्दी रोने लगता है तथा ऐसी ऐसी बातें करने लगता है जो बिल्कुल समझ से परे होती हैं।

शराबी व्यक्ति उल्टी चक्कर तथा निर्णय लेने की अक्षमता जैसी समस्या उत्पन्न होती है रात्रि में सो नहीं पाते हैं जिसकी वजह से शारीरिक सेहत गिर जाती है।

शरीर में विभिन्न प्रकार के आवश्यक तत्व जैसे विटामिन प्रोटीन आदि की कमी हो जाती है जिसकी वजह से व्यक्ति के अंदर बेचौनी सी उत्पन्न होती रहती है मांसपेशियों में ऐंठन नजर का कमजोर हो जाना तथा याददाश्त भी कमजोर होने लगती है ।

अधिक शराब पीने वाले लोगों के अंदर खनिज तत्वों की कमी के कारण शरीर पर झुर्रियां पड़ जाती है बालों में सफेदी आना शुरू हो जाती है इसके अलावा मैग्नीशियम जैसे तत्वों की कमी के कारण शारीरिक समस्या उत्पन्न हो जाती है तथा भोजन के असंतुलन के कारण शरीर में अनेक प्रकार के रोग घेर लेते हैं।

लीवर और अन्य आंतरिक अंदर प्रभावित क्यों होते है?

शराब पीने से लीवर पर दबाव पड़ता है जिसकी वजह से लीवर की क्षमता कमजोर हो जाती है पेट के अंदर औरतों पर गहरा प्रभाव पड़ता है जिससे दिमाग की अनुशासन दोलन हो जाता है शराबी व्यक्ति दिल से कमजोर होने लगता है।

शराब व्यक्ति की शारीरिक समस्याओं के साथ-साथ सबसे अधिक प्रभाव मानसिक डालती है अर्थात मानसिक स्थिति गड़बड़ हो जाती है।

दिमाग के कमजोर हो जाने के कारण व्यक्ति ने भावुकता और आत्मविश्वास की कमी हो जाती है।

नशे के माध्यम से अपने आप को सांत्वना देता है व्यक्ति किसी भी प्रकार की समस्या का सामना न कर पाने में अक्षम रहता है।

शराब पीने के कारण क्या है?

शराब पीने के प्रमुख कारण इस प्रकार है-

1. समस्याओं से सामना ना करना

जब कोई व्यक्ति किसी असामान्य समस्या का सामना नहीं कर पाता है तो वह नशे का आदी हो जाता है ऐसे में वह शराब भी नहीं लगता है उसके अंदर भावुकता अधिक हो जाती हैं ऐसे में वह समस्याओं को सामना करने की वजह से दूर भागने लगता है।

2. विभिन्न प्रकार के चिंताओं के कारण

व्यक्ति की जब आर्थिक और शारीरिक दशा गड़बड़ होती है तो ऐसे में भी व्यक्ति शराब का आदी हो जाता है जिसकी वजह से उसकी आर्थिक स्थिति और अधिक गिरने लगती है और पारिवारिक समस्याओं के कारण कई प्रकार की चिंताओं से गिर जाता है।

चिंताओं के कारण व्यक्ति में तनाव उत्पन्न हो जाता है और वह नशे से तनाव को दूर करने के लिए दारू या शराब पीने लगता है।

3. नींद की कमी के कारण: Due to lack of sleep

कहीं-कहीं व्यक्ति नींद की कमी महसूस करना लगता है रात में घंटों में जागता रहता है ऐसे में व्यक्ति को कई प्रकार की चिंताएं घेर लेती हैं जिसकी वजह से वह नशे का आदी हो जाता है और शराब पीने लगता है।

4. शक जैसी समस्या के कारण: Problem of Doubt

बहुत से लोग अपनी पत्नी के विषय में जब कोई बात सुनते हैं तो वे उस पर शक करने लगते हैं जिसकी वजह से मानसिक तनाव में आ जाते हैं एक ऐसी बीमारी बन जाती है जिसकी कोई दवा नहीं होती है ऐसे में व्यक्ति शराब का आदी हो जाता है।

कई बार ऐसा भी होता है कि एक पुरूष अपने अवैध सम्बन्धों को छिपाने और अपनी महिला मित्र की माँग तथा अपने परिवार के खर्चों के बीज समाजस्य बिठाने के लिए उत्पन्न तनाव एवं परेशानियों से पार पाने के लिए शराब का सहारा ले लेता है जो बाद में उसकी लत बन जाती है। अतः आपसे आशा की जाती है कि इपने जीवन साथी के प्रति वफादार रहें यह स्त्री एवं पुरूष दोनों के लिए ही लागू होता है। 

5. अत्यधिक तनाव के कारण भी शराब की लत लग जाती है: Stress Addiction to Alcohol

बहुत से लोग जब अधिक तनाव में होते हैं तो वे शराब कर सहारा लेते हैं कभी-कभी ऐसा देखा गया है कि व्यक्ति बिल्कुल शराब नहीं पीता था वह शराब की ओर भागने लगता है धीरे-धीरे वह शराब का आदी हो जाता है। 

शराब छुड़ाने की होम्योपैथिक दवा कौन-कौन सी हैं? होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की दवा

वैसे तो आज के समय में शराब जैसी लत को छुड़ाने के लिए बहुत सारे एडिसन तैयार किए गए परंतु होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की दवा मिलेंगी इसके अलावा एलोपैथी में भी बहुत सारी दवाएं उपलब्ध है ।

होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की बहुत सी दवा हैं जो शराब जैसी लत को छुड़ाने के लिए कारगर है यदि किसी भी व्यक्ति के अंदर शराब की लत है तो उसे होम्योपैथी की नीचे लिखी दवाओं को देने से शराब की लत छूट जाती है-

1. एसिड सल्फ-क्यू (Acid Sulf.-Q):

किसी भी व्यक्ति से होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की दवा के लिए एसिड सल्फ.-क्यू प्रतिदिन तीन भाग और एक भाग अल्कोहल में मिलाकर दिन में तीन बार 10-15 बूंदे मरीज को दे दे इसके बाद शराब पीने वाले व्यक्ति की आदत धीरे-धीरे छूट जाएगी।

2. सल्फ्यूरिक एसिड के साथ स्टेरक्यूलिया-क्यू पिलाने से शराब की आदत छुट जाती है।

किसी भी शराबी की शराब की लत छुड़ाने के लिए सल्फ्यूरिक एसिड के साथ स्टेरक्यूलिया-क्यू की प्रतिदिन 3 बार 10-15 बूंदी मरीज को दे दे शराब की लत छूट जाएगी।

3. सल्फ्यूरिक एसिड क्यू और अल्कोहल: Sulfuric Acid Q and Alcohol

किसी भी शराबी से शराब की लत छुड़ाने के लिए सल्फ्यूरिक एसिड के साथ तीन भाग अल्कोहल मिलाकर 3 से 4 सप्ताह तक दिन में तीन बार देने से शराब की लत छूट जाती है।

4. ओपियम-30: Opium-30

यदि कोई व्यक्ति किसी भय के कारण है या परेशानी के कारण दारू पीता है शराब पीता है तो उस व्यक्ति से शराब छुड़ाने के लिए ओपियम 30 को दिन में तीन बार दे दे इससे शराब की लत से वह दूर हो जाएगा।

5. सल्फ्यूरिक एसिड 200: Sulphuric Acid-200

यह किसी व्यक्ति में शराब पीने का कारण ब्रांडी से उत्पन्न होता है तो ऐसे में उसे सल्फ्यूरिक एसिड 200 सप्ताह में एक बार देने से शराब की लत छूट जाती है।

6. सल्फ्यूरिक एसिड 30: Sulphuric Acid-30

यदि कोई व्यक्ति कमजोरी और थकान के कारण शराब पीता है तो ऐसे व्यक्ति को सल्फ्यूरिक एसिड 30 दिन में तीन बार देने से शराब छूट जाती है।

7. कोकुलस इंडिकस-30: Coculus Indicus-30

किसी भी शराबी को यदि अधिक शराब पीने की लत है तो उस व्यक्ति कोकोकुलस इंडिकस-30 दिन में तीन बार देने से शराब से छुटकारा मिल जाता है।

8. असारम यूरोपियम-30: Asarum europium-30

असारम यूरोपियम-30 एक ऐसी दवा है जिंदगी शराब पीने की इच्छा बहुत तीव्र होती है उनको दिन में तीन बार दिया जाता है ऐसे में उनकी शराब पीने की इच्छा समाप्त हो जाती है।

9. यूपेटोरियम पर्फ-30: Eupatorium PRF-30

यूपेटोरियम पर्फ-30 को भी शराब छुड़ाने के लिए प्रयोग किया जाता है इसके लिए जिन व्यक्तियों का स्वास्थ्य खराब हो गया है कमजोरी हो गई है उनको दिन में तीन बार दिया जाए तो स्वास्थ्य सही हो जाएगा और शराब पीने की इच्छा खत्म हो जाएगी।

10. रेनाक्यूलस बी.-क्यू: Renaculus B-Q

जिन लोगों को शराब पीने की वजह से सिर दर्द हिचकी उदासी याददाश्त कमजोर होती है उन्माद या चित् भ्रांति होती है लोगों को रेनाक्यूलस बी.-क्यू दिन में तीन बार 1010 बोल देने से शराब पीने की आदत छूट जाती है।

11. कैप्सिकम-क्यू या 3 एक्स: Capsicum-Q or 3X

जिन लोगों में शराब पीने की वजह से नशा फोरम कम करना हो तो उन लोगों को पानी में मिलाकर कैप्सिकम-क्यू या 3 एक्स दे देने से शराब का नशा कम हो जाता है धीरे-धीरे शराब भी छूट जाती है।

12. बाइक्रोमियम-30: Bichromium-30

शराब पीने की वजह से मिचली उल्टी होना शुरू हो जाता है तो ऐसे व्यक्तियों को शराब छुड़ाने के लिए काली बाइक्रोमियम-30, दिया जाता है।

13. सेलेनियम-30: Selenium-30

सेलेनियम-30 की दो खराब पानी के साथ सुबह-शाम देने पर शराबी व्यक्ति की शराब पीने की आदत छूट जाती हैं।

अगर आप इन होम्योपैथी में शराब छुड़ाने की दवा का उपयोग करते है तो जल्द ही आप की शराब छूट जाएगी किन्तु दवा लेने से पहले एक बार डाक्टर से सलाह अवस्य ले जिस से वो आप की शारीरिक स्थिति के मुतबिक सही और उचित दवा दे सके।

विशेषः मुकेश शर्मा होम्योपैथी के एक अच्छे जानकार हैं जो पिछले लगभग 25 वर्षों से इस क्षेत्र में कार्य कर रहे हे। होम्योपैथी के उपचार के दौरान रोग के कारणों को दूर कर रोगी को ठीक किया जाता है। इसलिए होम्योपैथी में प्रत्येक रोगी की दवा, दवा की पोटेंसी तथा उसकी डोज आदि का निर्धारण रोगी की शारीरिक और उसकी मानसिक अवस्था के अनुसार अलग-अलग होती है। अतः बिना किसी होम्योपैथी के एक्सपर्ट की सलाह के बिना किसी भी दवा सेवन कदापि न करें।

इसमें ऐसा भी हो सकता है कि आपकी दवा कोई और भी हो सकती है और कोई दवा आपको फायदा देने के स्थान पर नुकसान भी कर सकती है। अतः बिना चिकित्सीय परामर्श के किसी भी दवा का सेवन न करें। इसके लिए आप फोन न0- 9897702775 पर भी सम्पर्क कर सकते हैं।

डिसक्लेमरः प्रस्तुत लेख में व्यक्त किए गए विचार लेखकगण के अपने हैं।