आतों को स्वस्थ रखने के लिए कारगर है फाइबर युक्त आहार      Publish Date : 01/06/2025

आतों को स्वस्थ रखने के लिए कारगर है फाइबर युक्त आहार

                                                                                                                                             डॉ0 सुशील शर्मा एवं मुकेश शर्मा

आंतों की सफाई, जिसे कोलोन क्लींजिंग भी कहा जाता है, शरीर से विषाक्त पदार्थों को निकालने और पाचन तंत्र को स्वस्थ रखने का एक प्राकृतिक प्रक्रिया है। स्वस्थ आंतें न केवल पाचन को बेहतर बनाती हैं, बल्कि समग्र स्वास्थ्य, ऊर्जा स्तर और प्रतिरक्षा प्रणाली को भी बढ़ावा देती हैं। पेट को डिटॉक्स कर अच्छी सेहत का कारण बनती हैं। आंतों को स्वस्थ रखने का पहला कदम है फाइबर युक्त आहार। फल, सब्जियां, साबुत अनाज और फलियां जैसे खाद्य पदार्थ मल त्याग को नियमित करते हैं और आंतों से गंदगी को बाहर निकालने में मदद करते हैं। विशेष रूप से, सेब, गाजर, पालक, चुकंदर और ओट्स फाइबर के अच्छे स्रोत हैं। प्रतिदिन 25-30 ग्राम फाइबर का सेवन करने का लक्ष्य रखें।

                                                      

इसके अलावा, प्रोबायोटिक्स जैसे दही, छाछ और फर्मेटेड फूड (जैसे किमची) आदि भी अच्छे बैक्टीरिया को बढ़ावा देते हैं, जो आंतों के लिए लाभकारी सिद्व होते हैं। 

हाइड्रेशन आंतों की सफाई का एक महत्वपूर्ण हिस्सा होता है। अतः दिन में कम से कम 8-10 गिलास पानी पीने से मल नरम बना रहता है और कब्ज की समस्या कम हो जाती है। नींबू पानी, नारियल पानी या हर्बल चाय भी आंतों को डिटॉक्स करने में मदद करते हैं। पानी की कमी के चलते आंतों में अपशिष्ट जमा हो सकता है, जिससे पाचन संबंधी समस्याएं बढ़ सकती हैं।

आंतों की सफाई के लिए कुछ प्राकृतिक पेय प्रभावी हो सकते हैं। उदाहरण के लिए, सुबह खाली पेट गुनगुने पानी में नींबू और शहद मिलाकर पीना पाचन क्रिया को उत्तेजित करता है। अदरक की चाय या सेब का सिरका (1-2 चम्मच पानी में मिलाकर) सेवन करना भी आंतों को साफ करने में सहायक रहता है। हालांकि, इनका उपयोग सीमित मात्रा में ही करना चाहिए और किसी विशेषज्ञ से सलाह लें।

                                                 

शारीरिक गतिविधि आंतों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देती है। योग, पैदल चलना, या हल्का व्यायाम पाचन तंत्र को सक्रिय करता है और मल त्याग को नियमित करता है। विशेष रूप से, योगासनों में पवनमुक्तासन और भुजंगासन आंतों की गतिशीलता को बेहतर बनाते हैं।

प्रोसेस्ड फूड, अत्यधिक चीनी, और तैलीय भोजन आंतों में विषाक्त पदार्थों को बढ़ा सकते हैं। धूम्रपान और अत्यधिक शराब का सेवन भी पाचन तंत्र को नुकसान पहुंचाता है। अतः इनका सेवन करने से बचना भी आंतों की सफाई के लिए जरूरी है।

आंतों की सफाई के लिए कोलोन हाइड्रोथेरेपी या एनीमा जैसे तरीके भी उपलब्ध हैं, लेकिन इन्हें केवल डॉक्टर की सलाह पर अपनाएं। बिना विशेषज्ञ सलाह के अत्यधिक डिटॉक्स आहार या दवाएं हानिकारक हो सकती हैं। कुल मिलाकर आंतों की सफाई के लिए प्राकृतिक और संतुलित जीवनशैली सबसे प्रभावी तरीका है। स्वस्थ आहार, पर्याप्त पानी, व्यायाम और अच्छी आदतें अपनाकर आप अपने पाचन तंत्र को मजबूत कर सकते हैं। किसी भी नए उपाय को शुरू करने से पहले अपने स्वास्थ्य की स्थिति के अनुसार चिकित्सक से परामर्श जरूर लें। स्वस्थ आंतें स्वस्थ जीवन की नींव हैं।

लेखकः डॉ0 सुशील शर्मा, जिला मेरठ के कंकर खेड़ा क्षेत्र में पिछले तीस वर्षों से अधिक समय से एक सफल आयुर्वेदिक चिकित्सक के रूप में प्रक्टिस कर रहे हैं।