नई चीनी के सेवन से नहीं बढ़ेगा मधुमेह, कोलेस्ट्रॉल और रक्तचॉप का स्तर      Publish Date : 30/01/2025

नई चीनी के सेवन से नहीं बढ़ेगा मधुमेह, कोलेस्ट्रॉल और रक्तचॉप का स्तर

अब मधुमेह के मरीज भी नई चीनी का स्वाद प्राप्त कर सकेंगे। नई चीनी शरीर में मधुमेह के अलावा मानव के शरीर में कोलेस्ट्रॉल और रक्तचॉप को भी नियंत्रित करने में कारगर है। यदि इस चीनी का निरंतर सेवन किया जाए तो इसका सेवन करने से फैटी लिवर की समस्या का समाधान भी किया जा सकता है। औषधीय गुणों से भरपूर इस चीनी को राष्ट्रीय शर्करा संथान के शोधार्थियों के द्वारा लगभग 6 वर्षों के कड़े शोधकार्य के बाद बनाया गया है।

                                                                

संस्थान के निदेशक का दावा है कि यह देश पहली कम जीआई (ग्लाइसेमिक इंडेक्क्स) स्तर की चीनी है। कहने का अर्थ यह है कि वर्तमान में बाजारों में उपलब्ध चीनी में 67, 92, स्टेविया चीनी में 67.32, ब्राउन चीनी में 67.51 और प्लांटेशन चीनी में 66.61 जीआई पाया जाता है। वर्तमान में उपलब्ध इन सभी चीनियों के मुकाबले संस्थान के द्वारा बनाई गई चीनी में सबसे कम 54.85 जीआई है।

शोध के अनुसार सामान्य चीनी में जीआई का स्तर 68 के आसापस होता है। अतः सामान्य चीनी का सेवन करने से शरीर में रक्त शर्करा का स्तर तेजी से बढ़ता है, यह मधुमेह के मरीज के लिए हानिकारक हो सकता है। इसके दूसरी ओर नई चीनी का जीआई स्तर 55 कम रखने के लिए गन्ने के रस को एक विशेष विधिद से साफ किया गया है। इसके अतिरिक्त इस चीनी में 19 आईयू प्रति ग्राम विटामिन ‘‘ए’’ भी उपलब्ध रहता है और यह वि।टामिन स्वास्थ्य के लिए बहुत लाभकारी माना जाता है। इसके साथ ही संस्थान के अनुसार शीघ्र ही इस नई चीनी में मैग्नीशियम, आयरन, जिंक, और विटामिन ‘‘बी-12’’ को भी शामिल कर दिया जाएगा। संस्थान के निदेशक प्रो0 नरेन्द्र मोहन ने बताया कि नई चीनी का पेटेंट प्रोसेस पूर्ण होने के बाद बाजार में इस चीनी को सामान्य चीनी से केवल 20 प्रतिशत अधिक कीमत पर उपभोक्ताओं के प्रयोग हेतु उपलब्ध करा दिया जाएगा।