केंद्रीय बजट में हेल्थ सेक्टर की बूम! Publish Date : 27/07/2024
केंद्रीय बजट में हेल्थ सेक्टर की बूम!
केंद्रीय स्वास्थ्य एवं आयुष मंत्रालय को इस बार बीते कई सालों की मांग के बाद सकल घरेलू उत्पाद में 2.5 फीसद स्वास्थ्य सेवाओं की मद में बजट को बढ़ाया गया है। इससे यह स्पष्ट है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पेशेंट फ्रेंडली, सीमित संसाधनों से सांस फूलते वेलनेस हेल्थ सेंटर्स के साथ ही जिला स्तरीय अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाएं सदृढ़ होगी। बजट पर यदि फौरी नजर डाली जाए तो विभिन्न मदों में शोध, संचारी, गैर संचारी रोगों की रोकथाम की मद में वित्तमंत्री ने दरियादिली, दिखाई है। जिसकी प्रशंसा फिलहाल फिलहाल प्रत्येक वर्गं कर रहा है। मेडिकल टूअरिज्म को अन्तर्रांष्ट्रीय पर लेकर जाने में यह बजट किसी वरदान से कम नही होगा।
स्वदेशी पद्धतियों को महत्व
आयुष मंत्रालय के लिए बजट आवंटन को 3 हजार करोड़ रुपए से बढ़ाकर 3,712.49 करोड़ रुपए कर दिया गया है। स्वास्थ्य मंत्रालय को आवंटित 90,958.63 करोड़ रुपए में से 87,656.90 करोड़ रुपए स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग को तथा 3,301.73 करोड़ रुपए स्वास्थ्य अनुसंधान विभाग को आवंटित किए गए हैं। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के अंतर्गत योजनाओं के लिए बजट आवंटन 77,624.79 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 87,656.90 करोड़ रुपए कर दिया गया है।
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को 2024-25 के बजट में 90,958.63 करोड़ रुपए आवंटित किए गए हैं, जो 2023-24 के संशोधित अनुमान 80,517.62 करोड़ रुपए से 12.96 प्रतिशत अधिक है। सरकार ने कैंसर के उपचार की तीन दवाओं ट्रैस्टुजुमैब डेरक्सटेकन, ओसिमर्टिनिय और डुरवालुमैब पर सीमा शुल्क में छूट की भी घोषणा की है। पेश बजट कैंसर रोगियों को राहत दी है। राहत वाले तथ्य यहे हैं कि इसमें तीन और दवाओं को सीमा शुल्क से पूरी तरह छूट देने का प्रस्ताव किया है। मेडिकल एक्स-रे मशीनों में उपयोग के लिए एक्स-रे ट्यूब और फ्लैट पैनल डिटेक्टरों पर बीसीडी (मूल सीमाशुल्क) में भी बदलाव का प्रस्ताव है जिससे मरीजों पर आर्थिक बोझ कम होगा।
प्रायोजित योजनाओं को मिलेंगे विकास के पंखः
केंद्र प्रायोजित योजनाओं में, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के लिए बजट आवंटन 2023-24 में 31,550.87 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 2024-25 में 36 हजार करोड़ रुपए और प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (पीएमजेएवाई) के लिए 6,800 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 7.300 करोड़ रुपए कर दिया गया है। राष्ट्रीय टेली मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम के लिए बजट आवंटन 65 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 90 करोड़ रुपए कर दिया गया है। राष्ट्रीय डिजिटल स्वास्थ्य मिशन के लिए आवंटन पहले की तरह 200 करोड़ रुपए ही है। केंद्रीय बजट में स्वायत्त निकायों के लिए बजट आवंटन 2023-2024 में 17,250.90 करोड़ रुपए से बढाकर 2024-25 में 18,013.62 करोड़ रुपए कर दिया गया है। इन निकायों में एम्स, नई दिल्ली के लिए आवंटन 4,278 करोड़ रुपए से बढाकर 4,523 करोड़ रुपए कर दिया गया है। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के लिए आवंटन 2295.12 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 2.732.13 करोड़ रुपए कर दिया गया है।
■ स्वायत्त निकायों के लिए बजट आवंटन 2023 2024 में 17,250.90 करोड़ से बढ़कर 2024-25 में 18,013.62 करोड़ रूपयरे कर दिया गया है।
■ मेडिकल टुअरिज्म के जरिए बनेगी भारत की सबल पहचान।